जब जब धर्म की हानि होती है तब तब प्रभु जन्म लेते हैं-------
हिंदुस्तान न्यूज एक्सप्रेस नगराम लखनऊ। जब जब धर्म की हानि होती है,तब तब हम सभी के कल्याण हेतु और राक्षसों का वध करने के लिए भगवान अवतार लेते हैं।यह उदगार निगोहां क्षेत्र के दयालपुर गांव में चल रही सात दिवसीय भागवत कथा में पूज्य गोपाल शास्त्रीय जी ने व्यक्त किया।उन्होंने कहा कि श्रीकृष्ण का अवतार तब होगा जब आप सत्य निवेशी बनेंगे। अर्थात आपको सत्य की साधना करनी पड़ेगी। मां देवकी ने सत्य की साधना की यधपि कष्टदायी हो सकती है, श्रलेकिन परिणाम बहुत सुंदर होगा वह हमारे जीवन को आनंद से भर देंगे।पूज्य शास्त्री जी कथा को आगे बढ़ाते हुए भगवान श्रीराम एवं श्रीकृष्ण जन्म का गूढ़ रहस्य बताया। उन्होंने कहा कि मनुष्य को भगवान कृष्ण की लीलाओं को सुनना चाहिए। इससे मनुष्य के भीतर धार्मिक रस का प्रवाह होता है। वही श्री कृष्ण जन्म के बारे में कथा के माध्यम से विस्तृत वृत्तांत से कही इस भागवत कथा में बडी संख्या में श्रद्धालु उमड पडे।कथा के दौरान फल,फूल,गुब्बारों व टॉफियों से सजे सत्संग हॉल में कृष्ण जन्मोत्सव मनाया गया। कृष्ण जन्म होते ही संपूर्ण सत्संग हॉल कन्हैयालाल की जयकारो से गुंज उठा तथा चहुंंओर पुष्पवर्षा की गई। जैसे ही भगवान श्रीकृष्ण के जन्म की कथा के साथ मंचन किया गया वैसे ही सत्संग पंडाल कृष्ण की जय-जयकार से गूंज उठा। ।नंद घर आनंद भयो, जय कन्हैया लाल की भजन की प्रस्तुति पर श्रद्धालु झूमकर नाचने लगे।पूरा पंडाल भक्तों के आनंद से स्वयं आनंदित था। भागवत कथा के मुख्य कार्यकर्ता शैलेन्द्र शुक्ला ने बताया की सभी के कल्याण हेतु भागवत पाठ का आयोजनएवं पूजन किया जा रहा है।
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