मनुष्य को सद्गति के लिए भगवान का नित्य प्रति भजन और जप करना चाहिए
हिंदुस्तान न्यूज़ एक्सप्रेस कानपुर। श्री राम कृपा स्टेट मैंनावती मार्ग में 26 नवंबर से 2 दिसंबर तक आयोजित श्रीमद भागवत ज्ञान यज्ञ कथा में अयोध्या धाम से पधारे आचार्य राघव महाराज, श्रीराम बल्भाकुंज जानकीघाट द्वारा स्वामी मयंक दास के मार्गदर्शन में बहुत ही सुंदर रोचक, श्लोको से युक्त श्री भागवत भगवान की ज्ञान वर्षा की जा रही है। जिसके तीसरे दिन पूज्य व्यास राघव ने बताया कि सभी व्यक्तियों को विद्या के लिए शिवजी की, जबकि सुखद दांपत्य के लिए गौरा पार्वती जी की श्रद्धा भक्ति के साथ पूजा करनी चाहिए। उन्होंने बताया कि मनुष्य को सद्गति के लिए भगवान का नित्य प्रति भजन और जप करना चाहिए। कथा में उन्होंने बताया कि संसार में पहले अंधकार था, बाद में जल में एक विराट पुरुष की उत्पत्ति हुई जिसके नाभि से कमल की उत्पत्ति और तदक्रम में संसार की उत्पत्ति हुई, जिसमें पहले संतान के रूप में संनक सुनंदन जी और उनकी बाईं-दाईं भुजा से मनुज- सतरूपा की उत्पत्ति हुई। व्यास जी ने बताया कि शिव जी की कृपा से ही सभी श्रापों का प्रभाव भी कम होता है। दक्ष के हवन में ना बुलाए जाने पर शिव जी ने माता पार्वती जी से कहा कि जहां रिश्ते खराब हो वहां पर सार्वजनिक रूप से नहीं जाना चाहिए। श्रीमद् भागवत कथा ज्ञान यज्ञ का आयोजन श्रीवास्तव परिवार तथा राम कृपा सेठ के सभी सम्मानित नागरिकों ने क्षेत्रीय पार्षद श्री पप्पू पांडे जी की देख रख में आयोजित किया है।
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