वर्ल्ड हार्ट डे पर 5 किमी और 2 किमी वॉकाथन
U-"करो दिल से दोस्ती" थीम के तहत आयोजित वॉकाथन
हिंदुस्तान न्यूज़ एक्सप्रेस कानपुर | वर्ल्ड हार्ट डे 2025 पर “करो दिल से दोस्ती” थीम के तहत यूपीटीटीआई ग्राउंड में 5 किमी और 2 किमी का वॉकाथन आयोजित किया। सुबह-सुबह आयोजित इस कार्यक्रम में सभी उम्र के उत्साही प्रतिभागियों ने हिस्सा लिया। इस वॉकाथॉन उद्देश्य हृदय स्वास्थ्य के प्रति जागरूकता बढ़ाना, हृदय रोगों की रोकथाम को प्रोत्साहित करना और लोगों को स्वस्थ जीवनशैली अपनाने के लिए प्रोत्साहित करना था। हृदय रोग दुनिया भर में मौत का सबसे बड़ा कारण हैं। डब्ल्यू एच ओ के अनुसार, विश्व में लगभग 19.8 मिलियन लोग हृदय रोगों के कारण हर साल अपनी जान गंवाते हैं, जो कुल वैश्विक मृत्यु का लगभग 32% है। इनमें से 85% मौतें हार्ट अटैक और स्ट्रोक के कारण होती हैं। यह वॉकाथॉन समय पर जागरूकता और रोकथाम के महत्व को उजागर करने का एक महत्वपूर्ण प्रयास था। नियमित व्यायाम, संतुलित आहार और तनाव प्रबंधन से हृदय रोग के जोखिम को काफी हद तक कम किया जा सकता है। हालांकि ,रीजेंसी हेल्थ के मैनेजिंग डॉयरेक्टर और फाउंडर डॉ अतुल कपूर इस कार्यक्रम में शामिल नहीं हो पाए। फिर भी उन्होंने स्पष्ट संदेश देते हुए कहा, “वर्ल्ड हार्ट डे हमें याद दिलाता है कि बचाव ही सबसे अच्छा इलाज होता है। आज के वॉकाथन ने दिखाया कि रोज़ाना एक्सरसाइज़, संतुलित डाइट और सही तनाव प्रबंधन जैसी आसान आदतें दिल की बीमारी का खतरा बहुत कम कर सकती हैं। रीजेंसी हेल्थ लोगों को बेहतर तरीके से हार्ट की देखभाल के लिए जानकारी और साधन प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध है।”रीजेंसी हेल्थ के सीईओ अभिषेक कपूर ने बताया, “रीजेंसी हेल्थ में हमारा लक्ष्य केवल अच्छा इलाज देना नहीं है बल्कि ऐसे वॉकाथन आयोजित करना है, जो लोगों को अपनी सेहत की जिम्मेदारी लेने के लिए प्रोत्साहित करते हैं। हार्ट की सेहत सिर्फ व्यक्तिगत जिम्मेदारी नहीं, बल्कि एक साझा प्रतिबद्धता है। इससे समाज समृद्ध बनाता है। इस कार्यक्रम के जरिए हम जागरूकता बढ़ाना और स्वस्थ लाइफस्टाइल अपनाने के लिए प्रेरित करना चाहते थे।”एक्सपर्ट इनपुट के अलावा रीजेंसी हेल्थ के प्रमुख विशेषज्ञों ने प्रतिदिन हृदय देखभाल के महत्व पर जोर दिया। एसोसिएट डॉयरेक्टर (इंटरवेंशनल कार्डियोलॉजी) डॉ अभिनीत गुप्ता ने कहा, “एक कार्डियोलॉजिस्ट के रूप में मेरी प्रैक्टिस के दौरान मैने यह देखा है कि छोटी-छोटी आदतें भी जिन्हें अक्सर नजरअंदाज किया जाता है वे समय के साथ गंभीर खतरा पैदा कर सकती हैं।