मानकों पर खरी उतरीं सभी सीएचसी, जीता कायाकल्प अवार्ड
U- सभी 10 सीएचसी को मिलेगी एक-एक लाख की धनराशि , सुदृढ़ होगी व्यवस्था
हिंदुस्तान न्यूज़ एक्सप्रेस कानपुर | प्रदेश में जनपद के कुल 10 सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों (सीएचसी) को वर्ष 2023-24 के लिए अच्छी व्यवस्था और रखरखाव के लिए कायाकल्प अवॉर्ड से सम्मानित किया गया। इन सभी सीएचसी को एक-एक लाख रुपये की पुरस्कार राशि मिलेगी जिनमें से 75 फीसदी की धनराशि इनकी व्यवस्था के सुदृढ़ करने में खर्च की जा सकेगी। यह जानकारी मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ आलोक रंजन ने दी। उन्होंने जिले के स्वास्थ्यकर्मियों को बधाई देते हुए इसी तरह से आगे कार्य कर अवॉर्ड जीतने के लिए प्रोत्साहित किया। इस उपलब्धि के लिए उन्होंने सभी सीएचसी अधीक्षक, उनकी टीम, नोडल अधिकारी, डीपीएम अश्विनी गौतम और क्वालिटी सलाहकार समेत सभी मंडलीय और जनपदीय सहयोगियों को बधाई दी है। उन्होंने बताया कि मिशन निदेशक से प्राप्त पत्र के अनुसार प्रदेश की 425 सीएचसी को यह पुरस्कार मिला है। इनमें कानपुर जिले की समस्त सीएचसी शामिल हैं। पुरस्कार के रूप में प्राप्त धनराशि में से 25 फीसदी का इस्तेमाल कर्मचारियों के प्रोत्साहन व पुरस्कार के तौर पर खर्च किये जाने का प्रावधान है। इसके साथ ही बताया की सभी सीएचसी में सीएचसी भीतरगांव ने 89.07 प्रतिशत अंक पाकर जनपद में प्रथम और प्रदेश में 23वां स्थान प्राप्त किया है। सीएचसी सरसौल 84.86 प्रतिशत अंकों के साथ द्वितीय और सीएचसी कल्याणपुर 83.29 प्रतिशत के साथ तीसरा स्थान पर है। अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी (एसीएमओ) व नोडल डॉ रमित रस्तोगी ने बताया कि कायाकल्प और एनक्वास का उद्देश्य ऐसी सार्वजनिक स्वास्थ्य सुविधाओं को प्रोत्साहित कर उनकी पहचान करना जो कि स्वच्छता और संक्रमण पर नियंत्रण के लिये मानक प्रोटोकॉल का पालन कर अनुकरणीय कार्य करते हैं। इसके साथ ही सार्वजनिक स्वास्थ्य सुविधाओं में स्वच्छता, साफ-सफाई और संक्रमण नियंत्रण को बढ़ावा देना है। सकारात्मक स्वास्थ्य परिणामों से जुड़ी सार्वजनिक स्वास्थ्य सुविधाओं में सुधार से ही बेहतर सुदृढ़ीकरण होता है। 70 फीसदी से अधिक स्कोर अनिवार्य कायाकल्प के जनपदीय परामर्शदाता डा. आरिफ़ बेग़ ने बताया कि इंफेक्शन कंट्रोल,क्वालिटी सर्विसेज, स्वच्छता जैसे मानकों के आधार पर सीएचसी का मूल्यांकन किया जाता है। मूल्यांकन के लिए बाहर से आने वाली टीम जिन सीएचसी को 70 फीसदी से अधिक अंक मिलते हैं उन्हें ही यह अवार्ड दिया जाता है। जिले की इकाइयों को तैयार करने में क्वालिटी प्रभारी विजय श्रीवास्तव की अहम भूमिका रही है। इस पुरस्कार के लिए प्रत्येक वर्ष मूल्यांकन होता है। यह मूल्यांकन सीएचसी, पीएचसी और हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर श्रेणी में अलग अलग किया जाता है।