ऐतिहासिक गंगा मेला पर तिरंगा फहरा, मटकी तोड़ हुई रंगबाजी
हिंदुस्तान न्यूज़ एक्सप्रेस कानपुर। गंगा मेला के अवसर पर शहर में रंग-गुलाल की धूम मची रही। समारोह की शुरुआत हटिया स्थित रज्जन बाबू पार्क में तिरंगा झंडा फहराने के साथ हुई।
उत्साहित लोगों ने ठेला, ऊंट और ट्रैक्टर पर सवार होकर जुलूस निकाला। यह जुलूस जनरल गंज से शुरू होकर मनीराम बगिया, मेस्टन रोड, कोतवाली, शिवाला, पटकापुर और कमला टावर होते हुए बिरहाना रोड पहुंचा।
बिरहाना रोड पर आयोजित मटकीफोड़ प्रतियोगिता में लोगों ने जमकर रंगबाजी की। परंपरागत तरीके से कपड़ा फाड़ होली भी खेली गई। इस ऐतिहासिक पर्व पर लोगों ने एक-दूसरे को होली व गंगा मेला की शुभकामनाएं दीं। फूलों की होली ने समारोह की खूबसूरती को और बढ़ा दिया।
गुरुवार को भी होली खेली गई। हटिया बाजार में रज्जन बाबू पार्क से गंगा मेले की शुरुआत हुई। हुरियारे भैंसा ठेला, ऊंट, घोड़ा, ट्रैक्टर ट्रॉली, थार, ठेला पर सवार होकर शहर की गलियों में निकले। उन पर रंगों की बौछार की गई। लोगों ने एक-दूसरे के कपड़े फाड़ दिए।
60 हजार लीटर रंग की व्यवस्था की गई थी। मुस्लिमों ने भी हुरियारों का माला पहनाकर स्वागत किया। पीली बिल्डिंग के गोविंदा की टोली ने बिरहाना रोड पर 30 फीट ऊंची मटकी तोड़ी। इस आयोजन में गोविंदा की 12 टोलियों ने हिस्सा लिया। पीली बिल्डिंग की टोली को मटकी फोड़ने पर 5100 रुपए का इनाम दिया गया। यह अकेली होली है, जो राष्ट्रगान के बाद शुरू हुई। कानपुर की इस खास होली का इतिहास 1942 में ब्रिटिश शासन से जुड़ा है, जब कानपुर के 47 क्रांतिकारियों को जेल में बंद किया गया था। करीब 25 हजार हुरियारों ने जगह-जगह रुक कर डांस किया और होली खेली।